उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग में महिला यौन उत्पीडन जाँच
समिति न बनाए जाने के कारण उस्मानी पर लगा महिला विरोधी मानसिकता का व्यक्ति होने
का ठप्पा l
18/12/16
आज का दिन यूपी के सीआईसी जावेद उस्मानी के लिए
उनके जीवन का काला दिन कहा जाए तो शायद गलत न होगा l जिस सूबे के वे कभी मुख्य
सचिव हुआ करते थे उसी सूबे की राजधानी लखनऊ में आज उस्मानी का पुतला फूँका गया l
आरटीआई कार्यकत्री उर्वशी शर्मा ने आज लखनऊ के
लक्ष्मण मेला मैदान में जावेद उस्मानी पर उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग में महिला
यौन उत्पीडन जाँच समिति का गठन न करके महिला विरोधी मानसिकता के तहत कार्य करने का
आरोप लगाते हुए जावेद उस्मानी का सार्वजनिक रूप से पुतला फूँका l
उर्वशी ने बताया कि उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग
में महिला यौन उत्पीडन जाँच समिति का गठन किये जाने के लिए उनके द्वारा मा. उच्च
न्यायालय इलाहाबाद की लखनऊ खंडपीठ में दायर की गयी याचिका के आदेश के अनुक्रम में
आयोग ने उनको आश्वासन दिया था कि आयोग में शीघ्र ही विशाखा समिति गठित कर दी
जायेगी पर कई माह बीत जाने के बाद भी आयोग में महिला यौन उत्पीडन जाँच समिति गठित
नहीं की गई है जिसके कारण सूचना आयुक्तों द्वारा बिना ऑडियो-वीडियो रिकॉर्डिंग की
सुविधा वाले सुनवाई कक्षों में महिला आरटीआई आवेदकों का भांति-भांति से यौन
उत्पीडन करना बदस्तूर जारी है l
बकौल उर्वशी क्योंकि आरटीआई एक्ट की धारा 15(4) के अनुसार उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग में महिला यौन उत्पीडन जाँच समिति का गठन की पूरी जिम्मेवारी मुख्य सूचना आयुक्त जावेद उस्मानी ही हैं अतः उन्होंने बीते 10 दिसम्बर को भी उस्मानी को एक पत्र लिखकर आयोग में विशाखा समिति के गठन में जानबूझकर देरी कर महिलाओं के प्रति असंवेदनशील रवैया अपनाने का आरोप लगाते हुए अनुरोध किया था कि वे महिलाओं के प्रति अपनी असंवेदनशील मानसिकता कापरित्याग करके दिनांक 18-12-16 अपराह्न 03:30 बजे से पूर्व उत्तर प्रदेश राज्य सूचना आयोग में महिला यौन उत्पीडन जाँच समिति का गठन कर इस आदेश की प्रति उनको उपलब्ध कराने की कृपा करें ताकि वे उनका पुतला दहन करने से बच सकें पर क्योंकि अभी तक आयोग में महिला यौन उत्पीडन जाँच समिति का गठन नहीं हुआ है इसलिए वे आज सार्वजनिक रूप से जावेद उस्मानी का पुतला दहन कर अपना विरोध प्रगट कर रही हैं l
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