http://www.bhaskar.com/article/UP-LUCK-social-welfare-department-under-secretary-fined-ten-thousand-4646226-PHO.html
सूचना नहीं देने पर समाज कल्याण विभाग के अंडर सेक्रेटरी पर 10 हजार का जुर्माना
dainikbhaskar.com | Jun 13, 2014, 21:02PM IST
1 of 2
Previous ImagePrev
NextNext Image
सूचना नहीं देने पर समाज कल्याण विभाग के अंडर सेक्रेटरी पर 10 हजार का जुर्माना
लखनऊ. दलितों के प्रति सरकारी रवैया कैसा है, इसकी बानगी राज्य सूचना
आयोग द्वारा समाज कल्याण विभाग के अंडर सेक्रेटरी पर लगे जुर्माने से पता
चलता है। राज्य सूचना आयोग के मुख्य सूचना आयुक्त रणजीत सिंह पंकज ने
दलित उत्पीड़न के एक मामले में सूचना नहीं देने पर यूपी समाज कल्याण
विभाग के अनुसचिव राज कुमार त्रिवेदी पर 10 हजार रुपए का जुर्माना लगाया
है।
प्रदेश सरकार के समाज कल्याण विभाग से आरटीआई कार्यकर्ता उर्वशी शर्मा ने
दलित उत्पीड़न के मामले में जानकारी मांगी थी। वर्ष 2012 में मांगी गई
सूचना को एक साल बाद उपलब्ध नहीं कराने पर उर्वशी शर्मा ने राज्य सूचना
आयोग में मामले की सुनवाई के लिए वर्ष 2013 में एक बार फिर अपील की थी।
मुख्य सूचना आयुक्त ने इस मामले की सुनवाई की।
उन्होंने मामले में दायर की गई एफआईआर की प्रति प्राप्त न कराये जाने पर
बीती 20 मई को यूपी समाज कल्याण विभाग के अनुसचिव एवं जन सूचना अधिकारी
राज कुमार त्रिवेदी पर 10 हजार रुपयों का जुर्माना लगाया।
इस जुर्माने की वसूली राज कुमार त्रिवेदी के वेतन से दिनांक 31 अगस्त तक
की जाएगी। जुर्माने को अधिकतम तीन किश्तों में भुगतान करने का निर्देश
दिया गया है। इसके लिए सचिव, सचिवालय प्रशासन को और राज कुमार त्रिवेदी
के वेतन से नहीं होने की स्थिति में भू-राजस्व की तरह करने के लिए
जिलाधिकारी, लखनऊ को निर्देशित किया है।
आगे पढ़िए क्या था मामला...
f 2
Previous ImagePrev
NextNext Image
सूचना नहीं देने पर समाज कल्याण विभाग के अंडर सेक्रेटरी पर 10 हजार का जुर्माना
क्या था मामला
उर्वशी शर्मा ने बताया कि वर्ष 2008 में समाज कल्याण की संस्था राजकीय
गोविन्द बल्लभ पंत पॉलीटेक्निक के तत्कालीन प्रधानाचार्य अशोक कुमार
बाजपेयी पर जातिसूचक शब्दों के प्रयोग का आरोप लगा था। समाज कल्याण के
संयुक्त निदेशक एवं वित्त नियंत्रक की जांच समिति ने अशोक कुमार बाजपेयी
को दलित छात्रों से जातिसूचक शब्दों के प्रयोग का दोषी भी पाया था।
उर्वशी शर्मा ने दलित छात्रों को न्याय दिलाने और तत्कालीन प्रधानाचार्य
अशोक कुमार बाजपेयी के विरुद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराने के लिए
मामले की जानकारी समाज कल्याण के उच्चाधिकारियों को दी और आरटीआई का
प्रयोग भी किया। उर्वशी शर्मा को समाज कल्याण के अनुसचिव धर्मराज सिंह ने
वर्ष 2012 में अशोक कुमार बाजपेयी के विरुद्ध एफआईआर दर्ज उसकी कॉपी को
उन्हें उपलब्ध कराने का निर्देश। इसके बावजूद कई माह बाद भी एफआईआर की
कॉपी प्राप्त नहीं हुई।
उर्वशी ने इस मामले की सुनवाई के लिए अपील की। मामले की सुनवाई के दौरान
पर्याप्त अवसर दिए जाने पर भी एफआईआर की कॉपी उपलब्ध नहीं करवाई गई। इस
पर उत्तर प्रदेश के मुख्य सूचना आयुक्त रंजीत सिंह पंकज ने यूपी समाज
कल्याण विभाग के अनुसचिव एवं जन सूचना अधिकारी राज कुमार त्रिवेदी पर दस
हजार रुपए का जुर्माना लगाया है।
--
-Sincerely Yours,
Urvashi Sharma
Secretary - YAISHWARYAJ SEVA SANSTHAAN
101,Narayan Tower, Opposite F block Idgah
Rajajipuram,Lucknow-226017,Uttar Pradesh,India
Contact 9369613513
Right to Information Helpline 8081898081
Helpline Against Corruption 9455553838
http://upcpri.blogspot.in/
No comments:
Post a Comment